कुंदन कुमार APP न्यूज, अमरपुर बांका (बिहार)
डांढ़ के जीर्णोद्धार कार्य में अनियमितता देख किसानो ने किया हंगामा
बांका जिले के अमरपुर प्रखंड क्षेत्र के भिखनपुर पंचायत में लघु जल संसाधन विभाग द्वारा हर खेत तक सिंचाई योजना के तहत भिखनपुर डांढ़ (678) का जीर्णोद्धार किया जा रहा है। ग्रामीणों और किसानों ने कार्य में भारी अनियमितता का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया। मौके पर प्रगतिशील किसान और पैक्स अध्यक्ष श्रीनारायण शर्मा सलिल,पवन शर्मा,अवध किशोर शर्मा,रामाशीष शर्मा,अमिताभ शर्मा, सोमेश शर्मा सहित कई लोग मौजूद थे। श्रीनारायण शर्मा सलिल ने बताया कि यह डांढ़ अंग्रेजों के समय का है और लगभग सौ साल पुराना है।
पहली बार इसका जीर्णोद्धार हो रहा है। संवेदक द्वारा मिट्टी तटबंध पर न डालकर तलहटी में डाली जा रही है, जिससे डांढ़ की चौड़ाई कम होती जा रही है। उन्होंने कहा कि वर्षों से जीर्णोद्धार नहीं होने के कारण आसपास की सरकारी जमीन पर कुछ किसानों ने कब्जा कर लिया है। इससे डांढ़ की चौड़ाई और घट गई है।श्री सलिल ने कहा कि कार्य शुरू करने से पहले सरकारी अमीन से जमीन की मापी करानी चाहिए थी, ताकि सही खुदाई हो सके। उन्होंने बताया कि पहले से बने स्लिपवे में पानी का स्तर ऊंचा करने के लिए तकता लगाने की व्यवस्था थी। साथ ही दो फीट वृत्त का नल भी लगा था।
जिससे रबी के दिनों में पानी निकालकर डूबी जमीन में भी खेती होती थी। पहले की व्यवस्था से ऊपरी और निचले दोनों स्तरों के खेतों की पटवन होती थी।अब प्रस्तावित स्लिपवे में न तो पानी ऊंचा करने की व्यवस्था है और न ही डूबी जमीन में रबी की खेती के लिए पानी निकालने की कोई व्यवस्था है। श्री सलिल ने बताया कि इस डांढ़ से जुड़ी सुरिहारी डांढ़ पूरी तरह अतिक्रमण में है। इस योजना के तहत उसे मुक्त कराया जा सकता है।किसानों ने बताया कि भिखनपुर डांढ़ से करीब दस हजार एकड़ खेतों की सिंचाई होती है। सूचना मिलने पर लघु जल संसाधन विभाग की सहायक अभियंता शिल्पा सोनी, कनीय अभियंता अशोक सिंह और अन्य कर्मी मौके पर पहुंचे।
उन्होंने खुदाई कार्य का निरीक्षण किया और किसानों की समस्याएं सुनीं।किसानों ने अधिकारियों से प्राकलन के अनुसार कार्य कराने, खुदाई से निकली मिट्टी तटबंध पर डालने, खुदाई से पहले जमीन की मापी कराने और पुराने स्लिपवे के अनुसार नया स्लिपवे बनाने की मांग की। सहायक अभियंता ने कहा कि सभी मांगों को ध्यान से सुना गया है। उच्च अधिकारियों को जानकारी दी जाएगी। संवेदक को पारदर्शिता और प्राकलन के अनुसार कार्य करने का निर्देश दिया गया है।